एसयूवी (स्पोर्ट्स यूटिलिटी व्हीकल) बनाने वाली देश की सबसे बड़ी कंपनियों में शुमार महिंद्रा एंड महिंद्रा (Mahindra & Mahindra) ने बढ़ती मांग को पूरा करने के लिए अपनी क्षमता को दोगुना बढ़ाने का लक्ष्य रखा है। महिंद्रा एंड महिंद्रा ग्रुप के सीईओ अनीश शाह के मुताबिक SUV की मांग बढ़ रही है और ऐसे में उत्पादन दोगुना करने के लिए जल्द ही रोडमैप का ऐलान किया जाएगा।
M&M दोगुना बढ़ाएगी एसयूवी का प्रोडक्शन, मजबूत मांग को पूरा करने के लिए बड़ा ऐलान – Mahindra and mahindra aims to double SUV capacity to ride demand says ceo Anish Shah
शाह ने ये बातें हालिया इंवेस्टर कांफ्रेंस में मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज से बातचीत में कही। लेटेस्ट एनुअल रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी की ऑटोमेटिव डिवीजन की सालाना उत्पादन क्षमता 4,55,570 यूनिट्स है। शेयरों की बात करें तो एमएंडएम के भाव करीब डेढ़ फीसदी की तेजी के साथ 1308 रुपये के भाव पर ट्रेड हो रहे हैं।
इन एसयूवी के दम पर कंपनी की दमदार मौजूदगी
भारत में एसयूवी की मांग तेजी से बढ़ रही है और इस सेग्मेंट में एमएंडएम (M&M) की स्थिति मजबूत हुई है। अगस्त में कंपनी ने 29516 एसयूवी कारों की बिक्री की जो कंपनी के लिए अब तक की सबसे अधिक बिक्री है। सालाना आधार पर कंपनी के एसयूवी की बिक्री में 87 फीसदी की उछाल रही। मौजूदा वित्त वर्ष 2022-23 में कंपनी की यूटिलिटी व्हीकल्स की सालाना बिक्री 68 फीसदी बढ़ी। एनालिस्ट्स के मुताबिक कंपनी की बिक्री को बढ़ाने में सबसे अधिक योगदान स्कॉर्पियो फिर से तैयार किए गए वर्जन Mahindra XUV400 और थार का है।
इलेक्ट्रिक कारों के मामले में कंपनी कर रही फोकस
ईवी कारोबार की बात करें तो हाल ही में कंपनी ने इस सेग्मेंट में एंट्री मारी है। इस सेग्मेंट में अभी टाटा मोटर्स का दबदबा है। मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल के मुताबिक महिंद्रा एंड महिंद्रा ईवी सेमेंट में InGlo प्लेटफॉर्म के जरिए खुद को मजबूत कर सकती है। कंपनी महिंद्रा बॉर्न इलेक्ट्रिक विजन के तहत पांच इलेक्ट्रिक एसयूवी लाने की तैयारी में है। शाह का अनुमान है कि वित्त वर्ष 2026-27 तक कुल एसयूवी बिक्री में 20-30 फीसदी इलेक्ट्रिक का हो सकता है यानी कि मौजूदा क्षमता के हिसाब से सालाना 2 लाख यूनिट्स का उत्पादन करना होगा।
महिंद्रा एंड महिंद्रा फॉर्म इक्विपमेंट बिजनेस में भी मार्केट शेयर बढ़ाने पर ध्यान दे रही है। अभी इसकी करीब 6 फीसदी हिस्सेदारी है लेकिन वह इसे ट्रैक्टर मार्केट में हिस्सेदारी के बराबर लाना चाहती है। इसका मतलब हुआ कि फॉर्म इक्पिमेंट सेग्मेंट में कंपनी का रेवेन्यू 10 गुना तक बढ़ सकता है। आने वाले वर्षों में कंपनी का लक्ष्य ग्रुप के बिजनेस को 100 करोड़ डॉलर से ऊपर पहुंचाने का है।
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