Daily Voice : निजी कंपनियों की तरफ से क्षमता विस्तार में आएगी तेजी, बैंकिग शेयर पकड़ेंगे रफ्तार

Daily Voice : भारतीय कंपनियां इस समय अपनी कुल स्थापित क्षमता के लगभग 76-78 फीसदी के स्तर पर काम कर रही हैं। अगर यह लेवल 80 फीसदी से ऊपर जाता है तो भारतीय कंपनियों को अपनी उत्पादन क्षमता बढ़ाने पर काम करना होगा। इसके चलते आगे भारतीय इकोनॉमी में प्राइवेट सेक्टर की तरफ से होने वाले पूंजीगत व्यय (कैपेक्स) में जोरदार बढ़त होती दिखेगी। ये बातें मनीकंट्रोल के साथ एक साक्षात्कार में नारनोलिया फाइनेंशियल सर्विसेज (Narnolia Financial Services) के चीफ इन्वेस्टमेंट ऑफीसर शैलेन्द्र कुमार (Shailendra Kumar) ने कही हैं।

इस बातचीत में उन्होंने आगे कहा कि इस समय भारत में कॉर्पोरेट बैलेंस शीट लंबे समय के बाद काफी मजबूत स्थिति में है। इससे ये साफ होता है कि अब भारत एक मजबूत कॉर्पोरेट कैपेक्स साइकिल में प्रवेश कर रहा है। फंड मैनेजमेंट और इन्वेस्टमेंट एडवाइजरी का दो दशकों से ज्यादा का अनुभव रखने वाले शैलेन्द्र कुमार का कहना है कि अगले कई सालों तक भारत का बैंकिंग सेक्टर जोरदार प्रदर्शन करता दिखेगा। इस बातचीत में उन्होंने आगे कहा कि 2018 के पहले हमें कुछ प्राइवेट बैंक और कंज्यूमर स्टॉक ही ग्रोथ करते नजर आते थे। लेकिन अब स्थितियां बदल गई हैं। अब तमाम सेक्टरों की तमाम कंपनियां जोरदार प्रदर्शन करती दिख रही हैं।

बैंकिंग शेयर में दिखेगी तेजी

शैलेन्द्र कुमार का मानना है कि भारतीय फाइनेंशियल सेक्टर विशेष रूप से भारतीय बैंक इस समय काफी मजबूत स्थिति में हैं। इनकी एसेट क्वालिटी, कैपिटल एडीक्वेसी (पूंजी पर्याप्तता) और रिटर्न ऑन एसेट काफी अच्छी स्थिति में। साथ ही देश में एक नया क्रेडिट साइकिल शुरू हो गया है जो आने वाले कई वर्षों तक जारी रहेगा। इसके अलावा, बैंक-निफ्टी ने 2019 के अंत से अब तक निफ्टी की तुलना में खराब प्रदर्शन किया है। इससे बैंकिग शेयरों का वैल्यूएशन तुलनात्मक रुप से सस्ता हो गया है। ऐसे में आगे हमें बैंकिंग शेयर नई रफ्तार पकड़ते दिख सकते हैं।

Market Outlook : 80 से ज्यादा स्मॉल कैप शेयर 34% तक भागे, जानिए अगले हफ्ते कैसी रह सकती है बाजार की चाल

यूएस फेड चेयरमैन के जैक्शनहोल सिम्पोजियम में दिए गए भाषण पर बात करते हुए शैलेन्द्र कुमार ने कहा कि फेड चेयरमैन की तरफ से जरूरत पड़ने पर दरों में और बढ़त की बात कही गई है। उनके इस बयान से यूएस 10 ईयर बॉन्ड यील्ड में और बढ़त देखने को मिल सकती है। अमेरिका के पिछले आंकड़ों के विश्लेषण से पता चलता है कि वहां महंगाई जब भी 4 फीसदी से ऊपर बढ़ती है, तो इसी के आसपास अपना टॉप बनाती है। उसके बाद किसी भी गिरावट से पहले ये लंबे समय तक ऊंचे स्तर पर बनी रहती है। ऐसे में लगता है कि यूएस फेड वर्तमान कैलेंडर ईयर के शेष बचे महीनों में दरों में बढ़त पर विराम लेने की रणनीति अपनाएगा।

डिस्क्लेमर: मनीकंट्रोल.कॉम पर दिए गए विचार एक्सपर्ट के अपने निजी विचार होते हैं। वेबसाइट या मैनेजमेंट इसके लिए उत्तरदाई नहीं है। यूजर्स को मनी कंट्रोल की सलाह है कि कोई भी निवेश निर्णय लेने से पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट की सलाह लें।

Source link

Add a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *