Daily Voice : वित्त वर्ष 2024 की पहली छमाही नतीजों के बाद वित्त वर्ष 2024 की दूसरी छमाही और वित्त वर्ष 2025 के नतीजों के बारे में अनुमान लगाना एक कठिन काम होगा। जियोपोलिटिकल तनाव और कच्चे तेल की बढ़ती कीमतें बाजार के लिए बड़ा खतरा नजर आ रही हैं। ये बातें एचडीएफसी सिक्योरिटीज उन्मेश शर्मा ने मनीकंट्रोल के साथ हुई एक बातचीत में कही हैं। उनका कहना है कि बाजार के महंगे वैल्यूशन और वित्त वर्ष 2025 की अर्निंग ग्रोथ की अनिश्चितता के चलते वित्त वर्ष 2025 में हल्की ग्रोथ देखने को मिल सकती है।
Daily Voice : एचडीएफसी सिक्योरिटीज फेडरल बैंक और बीएसई पर बुलिश, जानिए नए जमाने की टेक कंपनियों पर क्या है राय
फेडरल बैंक, सोभा और बीएसई में दिखेगी जोरदार तेजी
कैपिटल और इक्विटी मार्केट का 18 साल से ज्यादा का अनुभव रखने वाले उन्मेश शर्मा का कहना है कि फेडरल बैंक, सोभा और बीएसई कुछ ऐसे स्टॉक हैं जिनमें मौजूदा स्तरों से लगातार तेजी देखने को मिल सकती है। फेडरल बैंक पर बात करते हुए उन्मेश ने कहा कि बैंक अपने कारोबार में ग्रोथ पर फोकस बनाए हुए है। इसके लिए उनके की फिनटेक कंपनियों के साथ साझेदारी की है और कई नए प्रोडक्ट भी लॉन्च किए हैं। 1 गुने FY26 P/ABV के वर्तमान वैल्यूएशन पर यह स्टॉक लॉन्ग टर्म निवेशकों के लिए अच्छा दिख रहा है।
सोभा का फोकस भी अपने बिजनेस ग्रोथ पर बना हुआ है। कंपनी नए लॉन्च, सही समय पर डिलिवरी और मुनाफे में बढ़त पर जोर दे रही है। इस स्टॉक का वैल्यूएशन भी बहुत अच्छा दिख रहा है। आगे इस स्टॉक में अच्छी तेजी की उम्मीद दिख रही है।
उन्मेश का मानना है कि बीएसई एक अहम मोड़ पर है। यह डेरिवेटिव बाजार में अपनी आक्रामक रणनीति के जरिए खुद को फिर से मजबूत कर रही है। ऐसा लगता है कि नई पीढ़ी के ऑप्शन ट्रेडर्स से बीएसई को अच्छा सपोर्ट मिलेगा। बीएसई को भारत में ऑप्शन बाजार के तेजी से हो रहे विकास का फायदा मिलने की उम्मीद है।
दूसरी तिमाही के नतीजे उम्मीद के मुताबिक
सितंबर तिमाही के नतीजों पर बात करते हुए उन्मेश शर्मा ने कहा कि वित्त वर्ष 2024 की दूसरी तिमाही के नतीजे अब तक उम्मीद के मुताबिक ही रहे हैं। ओएमसी (ऑयल मार्केटिंग कंपनियों) ने पॉजिटिव सरप्राइज दिया है। इनकी रिफाइनिंग और मार्केटिंग मार्जिन काफी अच्छी रही है। ऑटो और बैंकिंग कंपनियों ने भी अच्छा प्रदर्शन किया है।
मजबूत बिजनेस मॉडल और विदेशी पैसे पर कम निर्भरता वाली न्यू टेक कंपनियों पर ही लगाएं दांव
नए जमाने की टेक कंपनियों से जुड़े सवाल का जवाब देते हुए उन्मेश शर्मा ने कहा कि उनकी फर्म ऐसे शेयरों में निवेश करने से बचती है जिनके वैल्यूएशन महंगे होते हैं और जिनकी अर्निंग ग्रोथ की संभावना कमजोर होती है। इसी रणनीति के तहत न्यू एज की टेक कंपनियां अब तक एचडीएफसी सिक्योरिटीज के मॉडल पोर्टफोलियो का हिस्सा नहीं रही हैं। यह कंपनी के लिए सही फैसला साबित हुआ है। लेकिन यह अच्छी बात है कि नए जमाने की टेक कंपनियां अब ग्रोथ के अलावा मुनाफा बढ़ाने पर भी फोकस कर रही हैं। बाजार ने उनकी इस कोशिश का इनाम भी दिया है। जिसके चलते हाल के दिनों में इस सेक्टर की कई कंपनियों में अच्छी तेजी देखने को मिली है।
इस तेजी को दुनिया भर में ब्याज दरों में हो रही बढ़त और यूएस फेड की दरों को लंबे समय तक ऊंचे स्तरों पर बनाए रखने की मंशा को ध्यान में रखकर देखना चाहिए। उन्मेश शर्मा का मानना है कि चूंकि ग्लोबल मनी अब सस्ती नहीं है, ऐसे में इस मनी पर निर्भर नए युग की कंपनियों की तेजी सीमित रहेगी। उन्मेश शर्मा की सलाह है कि इस पैक की उन कंपनियों पर ही दांव लगाएं जिनमें आगे कमाई बढ़ने की उम्मीद हो, जो विदेशी पैसे पर कम निर्भर हों और जिनका बिजनेस मॉडल मजबूत हो।
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